एक सीधा-सीधा सवाल जहन में उठने लगता है कि बारहवीं के बाद क्या. हालांकि कई युवा नवीं-दसवीं में ही तय कर लेते हैं कि उन्हें क्या करना है. कौनसा करियर लेना है. खासतौर पर साइंस लेने वाले छात्र डॉक्टर, इंजिनियर का लक्ष्य तय कर उसमें जुट जाते हैं. लेकिन आर्ट्स या कॉमर्स बेकग्राउंड वाले ज्यादातर बच्चों के साथ यही समस्या रहती है कि बारहवीं के बाद क्या. उदयपुर, राजस्थान, दिल्ली, पंजाब, हरियाणा या उत्तर-प्रदेश या यूं कह लीजिए की पूरे उत्तर भारत के छात्रों की भी यही स्थिति है कि बारहवीं के बाद क्या.
यह सवाल छात्रों के जहन में अगले दो साल तक कौंधता रहता है कि क्या करना है और देखते-देखते दो साल भी निकल जाते हैं. लेकिन यह तय नहीं हो पाता है कि करना क्या है. ज्यादातर बच्चों के सामने यही यक्ष प्रश्न हमेशा मुंह बाहे खड़ा रहता है. कुछ छात्र सोचते हैं कि जो दोस्त कर रहा है वही कर लेते हैं या पुलिस में चले जाते हैं या आर्मी में. लेकिन फैसला कुछ भी नहीं ले पाते. कभी कोई एडवांस करने की सोचते हैं तो उसके पैसे इतने ज्यादा होते हैं कि घर वाले ही मना कर देते हैं.
चलिए, इधर-उधर बातों को घुमाता नहीं हूं, सीधे मुद्दे पर आता हूं. होटल मैंनेजमेंट का कोर्स कीजिए. 12वीं के बाद सीधा कोर्स है. कुछ नहीं करना. किसी भी अच्छे इंस्टीट्यूट में एडमिशन लीजिए. डिग्री के बजाए एक साल का डिप्लोमा कीजिए. क्योंकि डिग्री में तीन या चार साल खराब करने के बजाए और एक साल का डिप्लोमा कर अगले तीन साल में डिग्री से कहीं ज्यादा सीख जाएंगे और पैसा कमा लेंगे वो अलग.
अब आप पूछेंगे कि #होटलमैंनेजमेंट ही क्यों. भाई. सीधी बात है. 12वीं करने के एक साल बाद ही पैसे कमाने लगते हो. होटल में रहना-खाना फ्री. सैलरी तो एक तरफ टिप्स-विप्स से ही इतनी कमाई होती है कि सैलरी तो बस सेविंग अकांट में ही पड़ी रहती है. लेकिन इसमें मेरी एक सलाह है, #होटलमैनेजमेंट उदयपुर, राजस्थान, दिल्ली, गुजरात, हरियाणा कहीं भी हो, हो सके तो यहां से नहीं करें। पैसे हैं तो विदेश से करें। पैसे नहीं भी हों तो एज्यूकेशन लोन लेकर बाहर से करें। अब आप कहेंगे कि एज्यूकेशन लोन कहां मिलता है. कौन भला देता है. बैंक वाले तो चक्कर लगवाते रहते हैं. लेकिन मैं अगली कुछ कड़ियों में बताऊंगा कि बैंक लोन लेना कितना आसाना है. चलिए अब मुद्दे पर आते हैं. मैं कह रहा था होटल मैनेजमेंट का कोर्स विदेश से करें.
#होटलमैनेजमेंट विदेश से करने के फायदे
अब सवाल यही आ रहा था कि बारहवीं के बाद होटल मैनेजमेंट ही क्यों. तो इसका जवाब मैंने दे दिया है कि भाई…एक साल के अंदर-अंदर आपको शानदार नौकरी मिल जाती है. विदेशों में पहली नौकरी 40 हजार रु. से लेकर एक लाख रुपये तक मिलती है. और किस कोर्स में ऐसा है. आप बारहवीं के बाद कोई सा भी कोर्स कर लो. इतनी जल्दी नौकरी और इतनी पैसे वाली कहीं नहीं मिलती. कितना ही जोर लगा लो. नहीं मिलती.
एआईसीटीई (AICTE) ने हाल में किए सर्वे में बताया कि देश में #होटलमैनेजमेंट ही ऐसा प्रोफेशन है जहां सबसे ज्यादा प्लेसमेंट हैं. यानि कोर्स करते ही नौकरी. 10 में से 8 बच्चों को नौकरी मिलती है. इंजिनियरिंग में 10 में से 4 बच्चों को नौकरी मिलती है. वे चार साल जी-तोड़ पढ़ाई करते हैं. पैसा लगता है तो सो अलग. लेकिन डिग्री के बाद नौकरी नहीं. नौकरी मिली भी तो कम पैसे की. इसलिए मेरा तो साफ मानना है साइंस के बच्चों की तरह ज्यादा पढ़ नहीं पाए. बैक बैंचर्स ही रहे तो होटल मैनेटमेंट सबसे बढ़िया. लेकिन करो विदेश से. इंडिया में भी करना है तो बहुत ही अच्छे इंस्टिट्यूट से करो. उदयपुर, राजस्थान में एक संस्थान है. उदयपुर इंस्टिट्यूट ऑफ होटल मैनेजमेंट. यह सीधे बाहर से इंटरनेशनल होटल मैनेजमेंट कराती है. 100 प्रतिशत नौकरी की गारंटी के साथ. इससे कर सकते हो. नहीं तो कहीं से भी करो. लेकिन कोशिश पूरी रखो की विदेश से करो. इसके कई फायदे हैं जो मैं ऊपर बता चुका हूं. बाकि आप लोगों की मर्जी.